
न्यूज़ डेस्क, महनार। लगातार भारी घाटे को देखते हुए बिहार सरकार ने बिहार राज्य विद्युत बोर्ड विघटित करते हुए बिजली विभाग को तीन शाखा उत्पादन, वितरण व संचरण में विभाजित कर एक कम्पनी बना दिया। हमलोग नार्थ बिहार पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड की बिजली उपभोग कर रहे हैं।
कम्पनी को मुनाफा में लाने के लिए सरकार नित्य नये नये युक्ति लगा रही है किंतु स्थानीय अधिकारियों की लापरवाही व अवैध कर्मियों की मिलीभगत से कम्पनी को भारी नुकसान होने की आशंका है।नल जल योजना में जहां जहां बोरिंग कराया गया है,वहां ठेकेदार ने कार्य सम्पन्न कर सम्बंधित विभाग को हस्तांतरित कर दिया किन्तु विभाग या वार्ड समिति ने बिजली कनेक्शन के लिए कोई आवेदन दिया ही नही और वहां जलापूर्ति आरम्भ हो गयी।
पड़ताल में यह पता चला कि कुकुरमुत्ते की तरह घूम रहे अवैध मिस्त्री ने निचले स्तर के जनप्रतिनिधियों के इशारे पर बिना मीटर व आवेदन के ही बिजली कनेक्शन दे दिया। यह पूरे बिहार स्तर का मामला है। अब यदि बिजली कम्पनी कंगाल होगी तो यह कष्ट जनता को ही झेलना होगा। सरकार व बिजली कम्पनी के इंजीनियर को चाहिए कि वह इस महाघोटाला की जांच कराए और विधिवत ढंग से कनेक्शन दे कर बिजली बिल की वसूली करे। साभार : अंजुम परवेज
: