वाणीश्री न्यूज़ डेस्क, गोपालगंज। जातीय जनगणना कराने की मांग को लेकर राजद ने आज जिला मुख्यालय पर रोषपूर्ण प्रदर्शन कर केंद्र सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।इस दौरान राजद कार्यकर्ताओ द्वारा पार्टी कार्यालय से एक जुलूस भी निकाला। जुलूस शहर के विभिन्न मार्गों से होते हुए समाहरणालय पहुंच एसडीएम से मिल कर एक प्रतिवेदन सौंपा।
दरअसल जातीय जनगणना ने सूबे राजनीति की सरगर्मियां तेज कर दिया है वही राजद इसको लेकर सड़क पर उतर गई है वही सूबे के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा भी जातीय जनगणना कराने को लेकर अपना स्टैंड क्लियर कर चुके है लेकिन केंद्र सरकार जातीय नही आर्थिक जनगणना पर जोर दे रही है जिसको लेकर राजद के शिष्टमंडल द्वारा एसडीएम उपेन्द्र पाल से मिल कर प्रधानमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा गया जिसमें जातीय जनगणना कराने, आरक्षित कोटे से बैकलॉग के लाखों रिक्त पड़े पदों को भरने तथा मंडल आयोग की शेष सिफारिशे लागू करने की मांग की गई।
प्रदर्शन के दौरान जिला के संगठन प्रभारी व प्रदेश महासचिव मंज़ूर आलम खान उर्फ नूर आलम खान ने केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि मोदी सरकार एक सोची समझी साजिश के तहत जातीय जनगणना नही करा कर पिछड़े समाज को उनके अधिकारों से वंचित रखना चाहती है। उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि जब हमारे घरों के फ्रिज टीवी और मोटर गाड़ी की गिनती हो सकती है तो पिछड़े समाज की गिनती क्यों नही हो सकती। उन्होंने कहा कि जातीय जनगणना होने तक राजद का आंदोलन सड़क से सदन तक जारी रहेगा।
राजद के प्रदेश महासचिव रेयाजुल हक राजू ने केंद्र सरकार को पिछड़ा विरोधी बताते हुए कहा कि एक ओर भाजपा बिहार के दोनों सदनों में जातीय जनगणना के समर्थन करने की नौटंकी करती है वहीं दूसरी ओर जनगणना कराने से भाग रही है, इससे साफ जाहिर होता है कि भाजपा के कथनी और करनी में बहुत अंतर है और वो पिछड़े समाज को उसका हक दिलाना नही चाहती।
उन्होंने कहा कि इन सभी मुद्दे को लेकर राजद का आंदोलन अनवरत जारी रहेगा। बैकुंठपुर के विधायक प्रेमशंकर यादव ने केंद्र सरकार को पिछड़े समाज का विरोधी बताते हुए कहा कि भाजपा नही चाहती कि देश के संसाधनों में से पिछड़े समाज को उनका वाजिब हक मिले।
उन्होंने कहा कि जब तक पिछड़े वर्गों के वास्तविक जनसंख्या का पता नही चलेगा उनके कल्याण के लिए योजनाएं कैसे बनेगी, उनकी शैक्षणिक सामाजिक और आर्थिक बेहतरी कैसे होगी। उनकी संख्या के अनुपात में बजट कैसे आवंटित होगा।
श्री यादव ने कहा कि राजद शुरू से ही जातीय जनगणना की मांग करता रहा है और आगे भी इसके लिए संघर्ष जारी रहेगा।
राजद के प्रधान महासचिव इम्तेयाज़ अली भुट्टो ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि किस धर्म के कितने लोग हैं, जब इसकी गिनती हो सकती है तो फिर वंचित उपेक्षित और पिछड़े समूहों की गणना करने में केंद्र सरकार को क्या परेशानी है। उन्होंने कहा कि पिछड़े समाज के मसीहा होने का ढोंग रचने वाली केंद्र सरकार उस समाज के साथ छल कर रही है जिसे किसी भी कीमत पर बर्दास्त नही किया जाएगा।