Vaanishree Nainital News: उत्तराखंड में मानसून की दस्तक के साथ ही कुमाऊं मंडल के पर्वतीय क्षेत्रों में स्थित हिल स्टेशन पर आने वाले पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट देखने को मिलीं है. पर्यटकों की संख्या में गिरावट आने से होटल इंडस्ट्री पर काफी बुरा प्रभाव देखने को मिला रहीं है. मानसून की दस्तक के कारण होटलों एवं होम स्टे में रूकने वालें पर्यटकों की संख्या 20 से 25 प्रतिशत ही रह गई है. इसके साथ ही रेस्टोरेंट, नाविकों के कारोबार पर असर देखने को मिल रहा है. कुमाऊं मंडल में मानसून की दस्तक के साथ ही नैनीताल, भीमताल, कैंची धाम, सातताल, अल्मोड़ा, बागेश्वर, चंपावत एवं पिथौरागढ़ क्षेत्रों में घूमने आने वाले पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट दिखाई दीं हैं. मानसून की दस्तक के साथ ही दिल्ली, यूपी, हरियाणा सहित अन्य प्रदेशों से आने वाले पर्यटक अपनी बुकिंग कैंसिल कर रहे हैं. पर्यटकों की संख्या में आई गिरावट का असर होटल इंडस्ट्री, होम स्टे, रेस्टोरेंट, नाविकों एवं पैराग्लाइडिंग के कारोबार पर दिखाई दे रहा है. मानसून के कारण पर्यटकों की संख्या में आई गिरावट असर सितंबर तक देखने को मिल सकता है.
व्यापारियों को उम्मीद है कि मैदानी इलाकों में तापमान में बढ़ोत्तरी होने से जल्द ही दोबारा पर्यटक पहाड़ों की तरफ रुख करेंगे. बंसीवाल होम स्टे के मालिक अंकित बंसल ने बताया कि 20 जून के बाद मानसून की दस्तक के साथ ही पहाड़ों पर दिल्ली, यूपी, हरियाणा सहित अन्य प्रदेशों से आने वाले पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट आई है. पर्यटकों की संख्या में गिरावट आने से सीधा असर होटल इंडस्ट्री एवं होम स्टे पर पड़ा है. उन्होंने कहा कि मानसून की दस्तक के बाद से पुरानी कई बुकिंग कैंसिल हो गई है. मानसून की दस्तक के बाद से 20 से 25 प्रतिशत ही कमरों की बुकिंग हो पा रही हैं. मानसून की दस्तक के साथ ही पर्वतीय क्षेत्र में आने वाले पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट देखने को मिली है. पर्यटकों की संख्या गिरने से होमस्टे होटल इंडस्ट्री के साथ-साथ नाव चालकों, रेस्टोरेंट इंडस्ट्री, पैराग्लाइडिंग, टैक्सी के कारोबार एवं फूड वेन के कारोबार पर काफी प्रभावित हुए हैं. कारोबार प्रभावित होने के कारण छोटे कारोबारियों को काफी परेशान हैं.
Courtesy: Abplive